समाचार शगुन हल्द्वानी उत्तराखंड
युवा सामाजिक एवं सांस्कृतिक समिति शीशमहल के तत्वावधान में रामलीला मंचन कल पांच अक्टूबर से प्रारंभ होगा। रामलीला मैदान के सामने स्थित प्रतिष्ठान में पत्रकारों से बातचीत करते हुए समिति अध्यक्ष मनोज तिवारी ने बताया कि शीशमहल रामलीला का आयोजन वर्ष 1973 से किया जा रहा है। 51 वर्षो के लंबे अंतराल के बाद निर्वतमान मेयर डॉ.जोगेंद्र रौतेला के प्रयासों से वर्ष 2023 में करोड़ों की लागत से बना अति सुंदर भवन रामलीला कमेटी को सौंपा गया है। कुमाऊं की लोकप्रिय रामलीला में शुमार शीशमहल रामलीला का आयोजन करने का श्रेय स्वर्गीय हरीश चंद तिवारी को जाता है। इस वर्ष 50 फुट का रावण का पुतला लोगों के आकर्षण का केंद्र होगा। इसके साथ ही मनमोहक आतिशबाजी का नजारा दर्शकों को देखने को मिलेगा। 20 वर्षो से तालीम दे रहे निर्देशक नीरज फुलारा लगातार 2 महीने से पात्रों को तराश रहे हैं। राज्याभिषेक के दूसरे दिन सांस्कृतिक संध्या का आयोजन स्वर्गीय तारा दत्त फुलारा की याद में किया जायेगा। शीशमहल रामलीला में दर्शकों के बैठने के लिये हरा मैदान सहित समुचित व्यवस्था है। समिति पदाधिकारियों ने बताया कि शीशमहल रामलीला को देखने के लिये काठगोदाम, हल्द्वानी के अलावा गौलापार, हैड़ाखान क्षेत्र के लोग बड़ी संख्या में आते हैं। प्रेस वार्ता में मुख्य व्यवस्थापक गिरीश तिवाड़ी, अध्यक्ष मनोज तिवाड़ी, महामंत्री एनडी तिवाड़ी, निर्देशक-नीरज फुलारा, सचिव विक्रम डंगवाल, मीडिया प्रभारी कमल पपनै, मोहन अधिकारी, हरीश पाण्डे, दिनेश फुलारा आदि भी मौजूद थे।