समाचार शगुन हल्द्वानी उत्तराखंड
कुमाऊं क्षेत्र में डग्गामार वाहनों पर लगाम न लगने के कारण परिवहन निगम को रोजाना लाखों का नुकसान उठाना पड़ रहा है। रोडवेज प्रबंधन की उदासीनता से कुमाऊं का सबसे बड़ा हल्द्वानी का बस स्टेशन दलालों का अड्डा बन गया है। यह आरोप लगाते हुए रोडवेज कर्मचारी संयुक्त परिषद के क्षेत्रीय अध्यक्ष जगदीश कांडपाल ने मंडलीय प्रबंधक संचालन काठगोदाम को पत्र भेजा है। कांडपाल का कहना है कि लंबे समय से डग्गामार वाहनों के खिलाफ कार्रवाई के लिए ज्वाइंट चेकिंग नहीं कराई जा रही है। इससे रोडवेज को रोजाना लाखों का नुकसान उठाना पड़ रहा है। पूर्व में निगम प्रबंधन की ओर से ज्वाइंट चेकिंग कराई जाती रही है लेकिन पिछले लंबे समय से क्षेत्रीय निगम प्रबंधन की उदासीनता के कारण डग्गामार आपरेटरों के हौंसले बुलंद हो गए हैं कि वे रोडवेज स्टेशन परिसर से ही बेरोकटोक सवारी भर रहे हैं। इस पर निगम प्रबंधन मूकदर्शक बना हुआ है। क्षेत्रीय अध्यक्ष ने बताया कि इस संबंध में जब संभागीय परिवहन अधिकारी से संपर्क किया गया तो पता चला कि मंडलीय प्रबंधक संचालन के उदासीन रवैए के कारण ज्वाइंट चेकिंग नहीं हो पा रही है। चूंकि चेकिंग के दौरान निजी वाहन के खिलाफ कार्रवाई करने पर वाहन उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी निगम की होती है। इससे बचने के लिए प्रबंधन हाथ पर हाथ धरे बैठा है। उन्होंने कहा कि तमाम बार बस स्टेशन से सवारी भरने के दौरान प्राइवेट आपरेटर व टैक्सी चालक रोडवेज चालक परिचालकों से मारपीट पर आमादा हो जाते हैं। यही हाल रुद्रपुर बस अड्डे का भी है। परिषद के क्षेत्रीय अध्यक्ष कांडपाल ने मंडलीय प्रबंधक को भेजे पत्र में निगम हित को देखते हुए डग्गामार वाहनों के खिलाफ शीघ्र चेकिंग अभियान चलाने की मांग की है।