समाचार शगुन हल्द्वानी उत्तराखंड
गौरक्षक दल ने बीती 28 अप्रैल को नैनीताल जिले के काठगोदाम स्थित सेंट थेरेसा चर्च में प्रतिबंधित मांस परोसे जाने और जिला प्रशासन के सैम्पल भरे जाने के मामले में सेंट थेरेसा चर्च की तरफ से अपना पक्ष रखा गया है। फादर ग्रेगरी मसकरेनस ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा कि गलत सूचना के आधार पर गौ रक्षक सेवकों ने सेंट थेरेसा चर्च की छवि को धूमिल करने का प्रयास किया जो कि बेहद निंदनीय है। उन्होंने कहा कि सेंट थेरेसा चर्च की छवि एक धार्मिक स्थल के रूप में रही है। गौ रक्षकों द्वारा गलत सूचना के आधार पर साप्ताहिक प्रार्थना सभा के दौरान प्रशासनिक अधिकारियों से चर्च की जांच पड़ताल करायी गयी, जिससे चर्च की छवि को ठेस पहुंची है और समाज में गलत तर्क पेश कर समाचार फैलाये गए जो की भ्रामक थे जिससे लोगों की भावनायें आहत हुई। समाज में गलत मैसेज फैलाए गये जो पूरी तरह निराधार थे। उन्होंने कहा कि चर्च के प्रतिनिधियों ने जिले के सभी बड़े अधिकारियों से मुलाकात कर इस प्रकरण की जानकारी दी है। किसी भी धर्म के प्रति इस तरह का व्यवहार निंदनीय है और इसे स्वीकार नहीं किया जाना चाहिए। कुछ लोगों ने जो अफवाहें फैलाई वो असत्य और निराधार हैं। चर्च में इस तरह की कोई गतिविधि नहीं हुई और न ही भविष्य में ऐसी कोई गतिविधि होगी जिससे किसी की भी भावनायें आहत हों, उन्होंने सेंट थेरेसा स्कूल के अभिभावकों और बच्चों से भी इस अफवाह पर ध्यान न देने की अपील की है।