समाचार शगुन हल्द्वानी उत्तराखंड
आगामी श्री गुरु तेग बहादुर जी के शहीदी दिवस को समर्पित हल्द्वानी गुरुद्वारा श्री गुरु नानकपुरा में सहज पाठ आरम्भ हुआ। इस इस उपलक्ष्य पर सजाए गए विशेष दीवान कीर्तन समागम में संगत निहाल हुई। सिख यूथ के सदस्यों ने बताया कि कीर्तन समागम में विशेष रूप से जालंधर से पहुंचे पंथ के महान प्रचारक व कथावाचक ज्ञानी दलजीत सिंह व जगजीत सिंह बाबहियां ने संगत को कथा और कीर्तन से निहाल कर दिया। उन्होंने बताया कि
श्री गुरु तेग बहादुर सिख धर्म के नौवें गुरु थे। वह एक महान संत, वीर और समाज सुधारक थे, जिन्होंने अपने जीवन में धर्म, न्याय और मानवता की रक्षा के लिए काम किया। गुरु तेग बहादुर जी की शहादत सिख इतिहास में एक महत्वपूर्ण घटना है। उन्होंने कश्मीरी पंडितों और अन्य अल्पसंख्यक समुदायों के अधिकारों की रक्षा के लिए अपनी जान कुर्बान कर दी। उनकी शिक्षा में प्रेम, सहिष्णुता, और सेवा के मूल्यों पर जोर दिया गया है। श्री गुरु तेग बहादुर की विरासत आज भी सिख समुदाय और विश्वभर के लोगों को प्रेरित करती है। अंत में जगत कल्याण की अरदास भी की गई व विशाल लंगर भी संगत ने छका। इस दौरान सिख यूथ सदस्य रमन साहनी, संप्रीत अजमानी, बन्नी चंडोक, करन विज, मनलीन कोहली, अमन आनंद, हाशमीत बिंद्रा, प्रिंस गुजराल, पवन सेठी, करनमीत सेठी, जसबीर सिंह गोल्डी हरजीत सिंह चड्ढा, कवलदीप आदि उपस्थित रहे।